म्यांमार से लगी मणिपुर की 400 ‎किमी सीमा पर लगातार हो रही कड़ी चौकसी

सीएम बीरेन ‎सिंह ने मी‎डिया से बातचीत में ‎किया खुलासा, ‎स्थिति पर रख रहे नजर

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इंफाल। मणिपुर के सीएम एन. बीरेन सिंह ने कहा कि म्यांमार में मौजूदा स्थिति के मद्देनजर पड़ोसी देश के साथ राज्य की लगभग 400 किलोमीटर की सीमा पर सुरक्षा तगड़ी कर दी गई है। सीएम ने मीडियाकर्मियों से कहा, म्यांमार में मौजूदा स्थिति को देखते हुए हमने सीमा पर बड़ी संख्या में अपनी सेना तैनात की है। न केवल असम राइफल्स बल्कि राज्य सुरक्षा बल, बीएसएफ, सीआरपीएफ को तैनात किया गया है। हम स्थिति पर सख्ती से और बारीकी से नजर रख रहे हैं। मणिपुर के मुख्यमंत्री की टिप्पणी चिन नेशनल ऑर्गनाइजेशन (सीएनओ) की सशस्त्र शाखा चिन नेशनल डिफेंस फोर्स (सीएनडीएफ) द्वारा चिन राज्य में उनके शिविरों पर कब्जा करने के बाद 74 म्यांमार सैनिकों के भारतीय क्षेत्र में भाग जाने के बाद आई है। बता दें ‎कि म्यांमार के सैनिकों को मिजोरम पुलिस ने चम्फाई जिले में पकड़ लिया और असम राइफल्स को सौंप दिया। भारतीय बलों ने सभी 74 सैनिकों को पड़ोसी देश तमू (मणिपुर में मोरेह सीमा के सामने) में म्यांमार सेना के अधिकारियों को सौंप दिया। सैनिकों के अलावा, महिलाओं और बच्चों सहित लगभग 1,400 म्यांमारियों ने पिछले हफ्ते म्यांमार के तातमाडॉ (सैन्य) और सीएनडीएफ कैडरों के बीच गोलीबारी के बाद मिजोरम के चम्फाई जिले में शरण ली थी।
सीएम ने राज्य में स्थिति सामान्य होने का दावा करते हुए कहा कि कुछ तत्व गड़बड़ी पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं। उन्‍होंने कहा विस्थापित लोगों के लिए पूर्वनिर्मित अस्थायी घरों को नष्ट करना दुर्भाग्यपूर्ण है। अब हमने सुरक्षा प्रदान की है और पूर्वनिर्मित घरों का पुनर्निर्माण फिर से शुरू किया जाएगा। पिछले एक या दो महीनों में राज्य के अधिकांश हिस्सों में सामान्य स्थिति बहाल हो गई है। हम इन कृत्यों की निंदा करते हैं। हमें मणिपुर में सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए मिलकर काम करना चाहिए।
बता दें ‎कि सोमवार को मणिपुर के कांगपोकपी जिले में एक सुरक्षाकर्मी समेत दो लोगों की मौत हो गई। जनजातीय एकता समिति (सीओटीयू), सदर हिल्स द्वारा कांगपोकपी जिले में लगाया गया 48 घंटे का पूर्ण बंद बुधवार को समाप्त हो गया, जबकि इंफाल-दीमापुर राष्ट्रीय राजमार्ग (एनएच-2) और इंफाल-जिरीबाम राष्ट्रीय राजमार्ग (एनएच-37) पर आर्थिक नाकेबंदी अभी भी जारी है। ये दो महत्वपूर्ण राजमार्ग मणिपुर की जीवन रेखाएं हैं।स्वयंसेवकों को विभिन्न स्थानों पर पूर्ण बंद का पालन कराते हुए देखा गया। हालांकि, किसी अप्रिय घटना की कोई सूचना नहीं है।.प्रदर्शनकारियों ने घटना की सीबीआई जांच की मांग है।

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