Elon Musk: मंगल पर शहर बसाने की तैयारी, दो वर्षों में मंगल पर पहला स्टारशिप भेजेगी स्पेसएक्स, एलन मस्क का एलान
वॉशिंगटन। एलन मस्क की कंपनी स्पेसएक्स अगले दो वर्षों में मंगल ग्रह पर अपने सबसे बड़े रॉकेट स्टारशिप को भेजने की योजना बना रही है। कंपनी के सीईओ एलन मस्क ने इसका एलान किया है। एलन मस्क ने बताया कि यह बिना क्रू वाला मिशन होगा, जिसमें रॉकेट की मंगल ग्रह पर सुरक्षित लैंडिंग को परखा जाएगा।
अगले 20 वर्षों में मंगल पर शहर बसाने की तैयारी
मस्क ने कहा कि अगर बिना क्रू वाला यह मिशन सफल रहा तो अगले चार वर्षों में मानव मिशन को मंगल पर भेजा जाएगा। स्पेसएक्स चीफ ने कहा कि सफल मिशन के बाद मंगल मिशन में तेजी लाई जाएगी और सबकुछ सही रहा तो अगले 20 वर्षों में मंगल पर पूरा शहर बसाने की योजना बना रहे हैं। मस्क ने कई ग्रहों पर एक साथ मानवजीवन की संभावना की वकालत की और कहा कि हमें सिर्फ एक ग्रह के भरोसे नहीं रहना चाहिए। मस्क ने स्पेसएक्स कर्मचारियों को मंगल ग्रह पर शहर बसाने की योजना पर काम शुरू करने का भी निर्देश दे दिया है। अमेरिकी मीडिया की रिपोर्ट्स के अनुसार, मंगल ग्रह पर छोटे गुंबदनुमा आवास बनाने की योजना है। एक अन्य टीम मंगल के प्रतिकूल वातावरण से निपटने के लिए स्पेससूट बनाने पर काम कर रही है, जबकि एक मेडिकल टीम इस बात पर शोध कर रही है कि क्या मनुष्य वहाँ बच्चे पैदा कर सकते हैं? मस्क ने साल 2016 में कहा था कि मंगल ग्रह पर मानव बस्ती बनने में 40 से 100 साल लगेंगे, लेकिन अब मस्क ने अगले 20 वर्षों में मंगल ग्रह पर मानव बस्ती बसाने का एलान कर दिया है। मस्क का लक्ष्य है कि करीब 10 लाख लोगों को मंगल ग्रह पर बसाया जाए।
रियूजेबल रॉकेट से मंगल मिशन की लागत कम करने की योजना
मस्क ने ये भी बताया कि उनकी कंपनी स्पेसएक्स ने पहला रियूजेबल (फिर से इस्तेमाल होने वाला) रॉकेट बनाया है और इससे अंतरिक्ष मिशन की लागत कम होगी, जिससे एक ग्रह से दूसरे ग्रह पर जाना आर्थिक रूप से महंगा नहीं पड़ेगा। मस्क ने ये भी बताया कि उनकी कंपनी स्पेसएक्स ने पहला रियूजेबल (फिर से इस्तेमाल होने वाला) रॉकेट बनाया है और इससे अंतरिक्ष मिशन की लागत कम होगी, जिससे एक ग्रह से दूसरे ग्रह पर जाना आर्थिक रूप से महंगा नहीं पड़ेगा। स्पेसएक्स के सबसे ताकतवर लॉन्च व्हीकल स्टारशिप ने इस साल जून में सफल उड़ान भरी थी। इसे टेक्सास में एक निजी स्टारबेस से लॉन्च किया गया था और स्पेसएक्स ने इसकी उड़ान का लाइव प्रसारण भी किया था। इससे पहले स्पेसएक्स के तीन प्रयास विफल रहे थे।