नई दिल्ली।वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन ने गुरुवार, एक फरवरी को मौजूदा मोदी सरकार का आखिरी बजट पेश किया। उन्होंने 58 मिनट लंबा भाषण दिया। यह अंतरिम बजट है, क्योंकि अप्रैल-मई में आम चुनाव होने हैं। नई सरकार बनने के बाद पूर्ण बजट जुलाई में पेश होने की उम्मीद है। वित्त मंत्री सीतारमन के कार्यकाल का यह छठा बजट है।
वित्त मंत्री ने कहा, ‘हमने अंतरिम बजट की परंपरा को जारी रखा है। यही वजह है कि सरकार ने किसी तरह की घोषणाएं करने से परहेज किया।’ हालांकि, अंतरिम बजट 4 सेक्टर्स पर फोकस रहा। गरीब, महिलाएं, युवा और अन्नदाता (किसान)।
पहले आम लोगों से जुड़ी 2 बड़ी बातें
1. इनकम टैक्स स्लैब: सरकार ने आम आदमी को इस बार इनकम टैक्स में कोई राहत नहीं दी है। टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं किया।
2. कुछ भी सस्ता या महंगा नहीं हुआ: इस बार बजट में कुछ भी सस्ता या महंगा नहीं हुआ है। ऐसा क्यों? ऐसा इसलिए क्योंकि 2017 में लागू किए गए GST के बाद से बजट में केवल कस्टम ड्यूटी, एक्साइज ड्यूटी को बढ़ाया या घटाया जाता है, जिसका असर गिनी-चुनी चीजों पर पड़ता है।
चार सेक्टर्स पर फोकस रहा
1. गरीबों के लिए: सरकार ने 25 करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर निकाला। गरीब कल्याण योजना में ₹ 34 लाख करोड़ खातों में भेजे।
2. महिलाओं के लिए: करीब 1 करोड़ महिलाएं लखपति दीदी बनीं। अब 3 करोड़ लखपति दीदी बनाने का लक्ष्य है।
3. युवाओं के लिए: तीन हजार नए IIT खोले गए हैं। 54 लाख युवाओं को प्रशिक्षित किया गया है। एशियाई खेलों में भारत के युवाओं को कामयाबी मिली है।
4. अन्नदाता (किसानों): पीएम किसान योजना से 11.8 करोड़ लोगों को आर्थिक मदद मिली है।
हमने अंतरिम बजट की परंपरा को जारी रखा
वित्त मंत्री ने कहा, ‘हमने अंतरिम बजट की परंपरा को जारी रखा है। दरअसल, अंतरिम बजट में किसी तरह की लोकलुभावन घोषणाएं नहीं की जाती हैं। यही वजह है कि सरकार ने किसी तरह की घोषणाएं करने से परहेज किया है।
इनकम टैक्स कलेक्शन तीन गुना बढ़ा
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन ने बताया, 10 साल में इनकम टैक्स कलेक्शन तीन गुना बढ़ गया है। मैंने टैक्स रेट में कटौती की है। 7 लाख की आय वालों को कोई कर देय नहीं है। 2025-2026 तक घाटा को और कम करेंगे। राजकोषीय घाटा 5.1% रहने का अनुमान है। 44.90 लाख करोड़ रुपए का खर्च है और 30 लाख करोड़ का रेवेन्यू आने का अनुमान है।
टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं
- डायरेक्ट या इनडायरेक्ट टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं।
- रक्षा खर्च में 11.1% की बढ़ोतरी, अब यह GDP का 3.4% होगा।
- आशा बहनों को भी आयुष्मान योजना का लाभ दिया जाएगा।
- तिलहन के अनुसंधान को बढ़ावा दिया जाएगा। हर महीने 300 यूनिट बिजली फ्री दी जाएगी।
बजट में रेलवे: तीन नए रेल कॉरिडोर, 40 हजार पुराने डिब्बों को वंदे भारत की तरह बदला जाएगा
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अंतरिम बजट पेश कर दिया। दूसरे क्षेत्रों की तरह बजट में रेलवे क्षेत्र के लिए भी एलान हुए हैं। वित्त वर्ष 2024-25 के बजट में सरकार का फोकस वंदे भारत ट्रेनों पर रहा।
रेलवे क्षेत्र को इस बजट से क्या?
अंतरिम बजट में वित्त मंत्री ने कहा कि तीन प्रमुख आर्थिक रेल गलियारा कार्यक्रम क्रियान्वित किए जाएंगे। इनमें पहला ऊर्जा, खनिज एवं सीमेंट गलियारा, दूसरा पत्तन संपर्कता गलियारा और तीसरा अधिक यातायात वाला गलियारा है। बहुविध मॉडलों वाली संपर्कता (कनेक्टिविटी) को संभव बनाने के लिए प्रधानमंत्री गति शक्ति के अंतर्गत इन परियोजनाओं की पहचान की गई है। इनसे रसद व्यवस्था संबंधी कार्यकुशलता बढ़ेगी और लागत में कमी आएगी। इसके चलते अधिक यातायात वाले गलियारों में भीड़ कम होने से यात्री ट्रेनों के परिचालन में सुधार लाने में भी मदद मिलेगी और यात्री सुरक्षा एवं यात्रा की रफ्तार बढ़ेगी। समर्पित मालभाड़ा गलियारों के साथ-साथ इन तीन आर्थिक गलियारा कार्यक्रमों से हमारी जीडीपी की विकास दर बढ़ेगी तथा रसद व्यवस्था संबंधी लागत में भी कमी आएगी।
एक अहम एलान में वित्त मंत्री ने कहा कि 40 हजार सामान्य बोगियों को वंदे भारत के पैमानों के अनुरूप विकसित किया जाएगा, ताकि यात्रियों की सुरक्षा और सहूलियत को बढ़ाया जा सके।
Budget 2024: आवास योजना से लेकर मुफ्त बिजली तक
मध्यम वर्ग के लिए क्या होंगी सरकार की नई योजनाएं
केंद्रीय वित्त मंत्री सीतारमन ने मोदी सरकार 2.0 के अंतिम वर्ष में अंतरिम बजट पेश किया। इस बजट में मध्यम वर्ग का खास ध्यान रखा गया है। वित्त मंत्री ने विशेष तौर पर बजट भाषण में मध्यम वर्ग के लिए कुछ योजनाओं का एलान किया है। इनमें सीतारमण मध्यम वर्ग के लिए अलग से आवास योजना शुरू करने की बात कही। इतना ही नहीं मिडिल क्लास को ध्यान में रखते हुए उन्होंने रूफटॉप सोलर एनर्जी को लेकर बड़ा एलान किया। वित्त मंत्री ने कहा कि इससे मध्यम वर्ग को हर साल बिजली में खर्च होने वाली बड़ी राशि बचाने में मदद मिलेगी।
मध्यम वर्ग के लिए क्या-क्या एलान?
1. मध्यमवर्ग के लिए आवास
वित्त मंत्री सीतारमन ने बजट भाषण में कहा कि मध्यमवर्ग के लिए सरकार नई योजना बनाएगी। उन्होंने हमारी सरकार किराए के मकानों या झुग्गी-झोपड़ी या चाल और अनधिकृत कालोनियों में रहने वाले मध्यम वर्ग के पात्र लोगों को अपने स्वयं के मकान खरीदने या बनाने में सहायता करने के लिए योजना शुरू करेगी।
2. छत पर सौर प्रणाली लगाना (रूफटॉप सोलराइजेशन) और मुफ्त बिजली
सीतारमन ने मध्यम परिवारों के लिए एक और बड़ी स्कीम के जरिए मदद का एलान किया। उन्होंने एक करोड़ परिवारों को रूफटॉप सोलर एनर्जी योजना के कवरेज में लाने की बात कही। सीतारमन के एलान के मुताबिक, छत पर सौर प्रणाली लगाने से एक करोड़ परिवार प्रत्येक महीने 300 यूनिट तक निःशुल्क बिजली प्राप्त कर सकेंगे। यह योजना अयोध्या में राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा के ऐतिहासिक दिन माननीय प्रधान मंत्री के संकल्प के अनुसरण में लाई गई है। इससे अपेक्षित लाभ इस प्रकार हैं-
निःशुल्क सौर बिजली और अधिशेष बिजली वितरण कंपनियों को बेचने से परिवारों को हर वर्ष पंद्रह हजार से अठारह हजार रुपये की बचत
इलेक्ट्रिक वाहनों की चार्जिंग
आपूर्ति और इन्स्टालेशन के लिए बड़ी संख्या में वेंडरों को उद्यमशीलता का अवसर
विनिर्माण, इन्स्टालेशन और रखरखाव में तकनीकी कौशल रखने वाले युवाओं के लिए रोजगार के अवसर प्रदान करेगा।
बजट में किसानों के लिए क्या?
आत्मनिर्भर तिलहन अभियान, 5 एकीकृत एक्वा पार्क, नैनो-डीएपी के इस्तेमाल का विस्तार
इस बार कृषि क्षेत्र को क्या मिला?
लोकसभा चुनावों से पहले पेश हुए अंतरिम बजट में सरकार ने ग्रामीण विकास पर जोर दिया है। वित्त मंत्री ने अपने भाषण में बताया कि किसान हमारे ‘अन्नदाता’ हैं। पीएम-किसान सम्मान योजना के अंतर्गत हर वर्ष सीमांत और छोटे किसानों सहित 11.8 करोड़ किसानों को प्रत्यक्ष वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। पीएम फसल बीमा योजना के अंतर्गत 4 करोड़ किसानों को फसल बीमा प्रदान किया गया है। अनेक दूसरे कार्यक्रमों के अलावा इन उपायों से ‘अन्नदाता’ को देश और पूरी दुनिया के लिए अन्न पैदा करने में सहायता दी जा रही है।
इलेक्ट्रॉनिक नेशनल एग्रीकल्चर मार्केट ने 1361 मंडियों को एकीकृत कर दिया है और इसमें 3 लाख करोड़ रुपये मूल्य का कारोबार हो रहा है और 1.8 करोड़ किसानों को सेवाएं मिल रही हैं। कृषि-क्षेत्र समावेशी, संतुलित, उच्चतर संवृद्धि और उत्पादकता की ओर अग्रसर है। इन्हें कृषक-केंद्रित नीतियां लाकर, किसानों को उनके आय अर्जन में सहायता देकर, कीमत और बीमा के माध्यम से जोखिम कवरेज देकर, स्टार्ट-अप के माध्यम से प्रौद्योगिकी और नवाचारों को बढ़ावा देकर सुगम किया गया है।
कृषि क्षेत्र के लिए अहम घोषणाएं:
- सरकार फसल कटाई के बाद की गतिविधियों में निजी और सार्वजनिक निवेश को बढ़ावा देगी।
- सभी कृषि-जलवायु क्षेत्रों में नैनो-डीएपी के इस्तेमाल का विस्तार किया जाएगा।
- तिलहनों के लिए आत्मनिर्भरता हासिल करने के लिए ‘आत्मनिर्भर तिलहन अभियान’ शुरू किया जाएगा।
- डेयरी विकास के लिए व्यापक कार्यक्रम बनाया जाएगा।
- जलीय कृषि उत्पादकता बढ़ाने, निर्यात दोगुना करने और अधिक रोजगार के अवसर पैदा करने के लिए प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना के कार्यान्वयन को आगे बढ़ाया जाएगा।
- पांच एकीकृत एक्वा पार्क स्थापित किए जाएंगे।