नर्मदा को छलनी कर रही पावर मैक कंपनी

बिना वैध ठेका कंपनी सीहोर में कर रही रेत का अवैध खनन

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भोपाल/सीहोर। मप्र की जीवन रेखा नर्मदा नदी में रेत का अवैध खनन रोकने के लिए सरकार नीति, नियम बना-बनाकर थक चुकी है। लेकिन रसूखदारों की शह पर नदी में अवैध खनन लगातार हो रहा है। वर्तमान में पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के गृह जिले में पावर मैक कंपनी रेत का अवैध खनन कर नर्मदा को छलनी कर रही है। आलम यह है कि कंपनी पर किसी का बस नहीं चल रहा है। कंपनी का आतंक यह है कि मजबूर होकर स्थानीय लोगों ने विगत दिनों भोपाल में शिवराज सिंह चौहान के दरबार में गुहार लगाई है।
गौरतलब है कि नर्मदा नहीं में रेत के अवैध खनन के कारण नदी का स्वरूप बिगड़ रहा है। एनजीटी ने कई बार अवैध खनन को लेकर शासन-प्रशासन को नोटिस भी भेजा है। लेकिन विडंबना यह है कि राजधानी भोपाल के पड़ोसी जिले सीहोर में ही पावर मैक कंपनी का आतंक सिर चढक़र बोल रहा है। यहां वैध ठेका न होने के बाद भी पावर मेक लगातार नर्मदा नदी को छलनी कर रेत का अवैध खनन कर रहा है। वहीं कंपनी के गुर्गों से जनता भी भयभीत और परेशान है। इसी का एक नमूना पिछले दिनों पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के जनता दरबार में देखने को मिला जहां पर एक महिला ने रेत कंपनी के गुर्गों द्वारा प्रताडि़त करने की शिकायत की।
शिकायतें खुब, कार्रवाई नहीं
पावर मैक कंपनी द्वारा किए जा रहे रेत के अवैध खनन और उसके कर्मचारियों की गुंडागर्दी के खिलाफ तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से पूर्व में कई बार की गई थी। साथ ही लोगों ने प्रशासन से भी शिकायतें की, लेकिन कंपनी का बाल भी बांका नहीं हो पाया। लोगों का कहना है कि कंपनी का आतंक दिन पर दिन बढ़ता जा रहा है। थाने में शिकायतें होने के बाद भी पुलिस प्रशासन मौन है।
कांग्रेस-भाजपा दोनों ही रेत के खेल में शामिल
वैसे तो कांग्रेस-भाजपा राजनीति में एक दूसरे के धुर विरोधी माने जाते हैं लेकिन रेत के खेल में दोनों पार्टियों के नेता शामिल हैं। सूत्रों की माने तो पूर्व मुख्यमंत्री के गृह जिले में हो रहे रेत के अवैध उत्खनन में कांग्रेस के नर्मदापुरम के एक नेता का सीधा सरोकार है और वह यहां भाजपा के नेताओं के साथ मिलकर कंपनी को विशेष सहयोग प्राप्त करवाते हैं।
गांवों में बड़े स्तर पर अवैध खनन
पावर मैक कंपनी की सीहोर जिले में दादागिरी का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि बिना किसी वैध लीज के कंपनी द्वारा अवैध उत्खनन किया जा रहा है। इस संबंध में पिछले दिनों एनजीटी ने खनिज संसाधन विभाग, खनिज संचालनालय, माइनिंग कॉर्पोरेशन, कलेक्टर सीहोर, जिला खनिज अधिकारी, एमपी सिया और पॉवर मेक प्रोजेक्ट लिमिटेड को नोटिस जारी कर एक माह में जवाब तलब किया है। इसके साथ तीन सदस्यीय जांच समिति का गठन किया है। इसमें कलेक्टर, सीपीसीबी, और एमपीपीसीबी के एक-एक प्रतिनधि को शामिल किया गया है। समिति को मौके पर जांच कर प्रतिवेदन देने के लिए कहा गया है।
सीएम दे चुके हैं कड़ी कार्रवाई के निर्देश
डॉ. मोहन यादव द्वारा मुख्यमंत्री का पद ग्रहण करने के बाद ही अधिकारियों को यह साफ निर्देश दे दिए गए हैं कि पूरे प्रदेश में किसी भी तरीके की अवैध गतिविधि और माफिया के आतंक को नहीं सहा जाएगा। जिसका नमूना पिछले दिनों सीहोर में भी देखा गया जहां पर माइनिंग ने अवैध उत्खनन पर कार्रवाई की खानापूर्ती की गई। लेकिन अब देखना यह होगा की क्या मुख्यमंत्री के निर्देशों का पालन सीहोर जिले के अधिकारी कितनी तत्परता से पावर मैक कंपनी पर करते हैं या नहीं।

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